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कानपुर नगर। चंद्रशेखर आजाद कृषि एवं प्रौद्योगिकी विश्वविद्यालय कानपुर के अधीन संचालित कृषि विज्ञान केंद्र दिलीप नगर पर गेहूं की विभिन्न प्रजातियों का परीक्षण लगाया गया। डॉ राजेश राय ने बताया कि गेहूँ विश्वव्यापी महत्वपूर्ण खाद्यान्न फ़सल है। यह लोगों का मुख्य खाद्य है। उन्होंने बताया कि विश्व के सभी प्रायद्वीपों में गेहूँ उगाया जाता है। विश्व की बढ़ती जनसंख्या के लिए गेहूँ लगभग 20 प्रतिशत आहार कैलोरी की पूर्ति करता है। उन्होंने बताया कि कानपुर देहात में लगभग 15000 से 18000 हेक्टेयर भूमि ऊसर प्रभावित है, जबकि किसान जानकारी के अभाव में ऐसी प्रजातियों का चयन कर लेते हैं जो ऊसर भूमियों के लिए सहनशील नही होती जिससे उत्पादन प्रभावित होता है। उन्होंने कहा कि कृषि विज्ञान केंद्र द्वारा गेहूं की 15 प्रजातियों का जलवायु एवम मृदा की उपयुक्तता के परीक्षण करने हेतु गेहूं की क्रॉप कैफेटारिया लगाई जा रही हैं, देख कर सीखो, व कर के सीखो की परिकल्पना को साकार करते किसान यंहा प्रजातियों का प्रदर्शन, एवम उत्पादन के आधार पर देख कर कर उपयुक्त प्रजाति चयन कर लाभ ले सकते हैं। गेहूं के उत्पादन में राज्य का महत्वपूर्ण योगदान है कानपुर देहात में भी गेहूं रबी में सबसे ज्यादा उगाई जाने वाली फसल है ऐसे में सिर्फ प्रजाति के सही चयन से उत्पादन 20-30 प्रतिशत बढ़ जाता है।